दिल्ली स्थित जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) एक बार फिर छात्र राजनीति के केंद्र में आ गया है। 2025 में हुए छात्र संघ चुनाव में ऑल इंडिया स्टूडेंट्स एसोसिएशन (AISA) और डेमोक्रेटिक स्टूडेंट्स फ्रंट (DSF) के साझा उम्मीदवार नीतीश कुमार ने भारी बहुमत से अध्यक्ष पद पर जीत दर्ज की है। यह जीत सिर्फ एक चुनावी परिणाम नहीं है, बल्कि यह JNU के छात्र वर्ग की बदलती सोच, आकांक्षाओं और नेतृत्व की नई परिभाषा को दर्शाता है।
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JNU चुनाव परिणाम 2025: वाम गठबंधन की वापसी
इस बार के JNU छात्र संघ चुनाव में वाम दलों का प्रभाव साफ-साफ नजर आया। नीतीश कुमार ने 1702 वोट हासिल किए, जबकि ABVP की उम्मीदवार शिखा को 1430 वोटों पर संतोष करना पड़ा। यह सिर्फ वोटों का फर्क नहीं था, बल्कि यह विचारधारा और दृष्टिकोण का भी अंतर था।
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अन्य पदों पर भी वाम गठबंधन के उम्मीदवारों ने जीत हासिल की, सिवाय संयुक्त सचिव के पद के, जिसे ABVP ने अपने नाम किया। ये चुनाव परिणाम यह दर्शाते हैं कि छात्र अब एक प्रगतिशील और भागीदारी आधारित नेतृत्व की ओर बढ़ रहे हैं।
छात्रों के लिए प्राथमिकताएं: नीतीश कुमार का एजेंडा
चुनाव के बाद मीडिया से बातचीत में नीतीश कुमार ने साफ कहा कि उनका फोकस छात्रों की समस्याओं के व्यावहारिक समाधान पर रहेगा। उन्होंने निम्नलिखित बिंदुओं को अपनी प्राथमिकता में रखा:
- JNU में शिक्षा बजट बढ़ाना – नीतीश का कहना है कि हाल के वर्षों में विश्वविद्यालय के बजट में कटौती हुई है, जिससे शोध और संसाधनों पर असर पड़ा है। वे इसके लिए सरकार और प्रशासन पर दबाव बनाने की योजना रखते हैं।
- JNUEE की बहाली – JNUE में प्रवेश परीक्षा (JNUEE) को फिर से लागू करने की मांग को उन्होंने प्रमुख मुद्दा बताया। उनके अनुसार, राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित परीक्षा से योग्य छात्रों को अवसर मिलता है।
- CPO मैनुअल की समाप्ति – यह मैनुअल JNUEके वातावरण को प्रभावित करता है। नीतीश इस व्यवस्था को लोकतांत्रिक प्रक्रिया के खिलाफ मानते हैं।
- छात्रावास की व्यवस्था सुधार – खासकर महिला छात्रों के लिए सिंगल-सीटर रूम्स की संख्या बढ़ाने पर ज़ोर दिया गया है।
- शोधकर्ताओं के लिए सुविधाएं – JNUE में रिसर्च करने वाले छात्रों को पर्याप्त अनुदान और संसाधन मिलें, यह भी उनकी प्राथमिकताओं में शामिल है।
नीतीश कुमार: ज़मीनी नेता की पहचान
नीतीश कुमार का जन्म बिहार के अररिया जिले के एक छोटे से गांव शेखपुरा में हुआ। वे एक साधारण OBC परिवार से हैं और उन्होंने संघर्ष के रास्ते पर चलते हुए छात्र राजनीति में अपनी पहचान बनाई। जब उन्होंने JNU में दाखिला लिया, तो उन्होंने शिक्षा से जुड़े मुद्दों पर खुलकर अपनी आवाज़ उठाई और ‘Reopen JNU’ जैसे आंदोलनों में सक्रिय रूप से भाग लिया।
नीतीश कुमार का मानना है कि छात्र राजनीति का असली मकसद शिक्षा को हर एक व्यक्ति तक पहुंचाना और वंचित वर्गों के अधिकारों की रक्षा करना है। यही सोच उन्हें छात्रों के बीच बेहद लोकप्रिय बनाती है।
नीतीश कुमार की जीत ने छात्रों में नई उम्मीदें जगा दी हैं। अब सभी की नजरें इस बात पर टिकी हैं कि वे अपने वादों को कितना निभा पाते हैं। छात्रों को विश्वास है कि JNU में शैक्षणिक माहौल और भी बेहतर होगा, और हर छात्र को समान अवसर मिलेंगे।
उनकी अध्यक्षता में छात्र संघ की भूमिका केवल विरोध और आंदोलनों तक सीमित नहीं रहेगी, बल्कि यह समाधान-उन्मुख राजनीति की दिशा में भी बढ़ेगी।
Aayaam Career Academy: Sikar की Best NEET Coaching
जब NEET जैसी प्रतिस्पर्धी परीक्षा की तैयारी की बात आती है, तो सही मार्गदर्शन और एक बेहतरीन कोचिंग संस्थान का चुनाव करना बेहद महत्वपूर्ण होता है। Sikar जैसे शिक्षा-केन्द्रित शहर में, Aayaam Career Academy ने खुद को NEET की सबसे अच्छी कोचिंग के रूप में स्थापित कर लिया है। यह संस्था न केवल छात्रों को मेडिकल प्रवेश परीक्षा में सफलता पाने के लिए प्रशिक्षित करती है, बल्कि उनमें आत्मविश्वास और अनुशासन की भावना भी विकसित करती है।
Aayaam Career Academy की विशेषताएं:
यहां पढ़ाने वाले सभी शिक्षक अपने-अपने विषय के माहिर हैं और उनके पास वर्षों का अनुभव है, जो छात्रों को गहराई से विषय को समझने में मदद करता है। NEET के पैटर्न के अनुसार नियमित टेस्ट आयोजित किए जाते हैं, जिससे छात्रों को परीक्षा की तैयारी और समय प्रबंधन में सहायता मिलती है। हर छात्र की प्रगति पर व्यक्तिगत ध्यान दिया जाता है। कमजोर विषयों की पहचान करके उन्हें सुधारने के लिए विशेष कक्षाएं आयोजित की जाती हैं। संस्था का माहौल सकारात्मक और अनुशासित है, जो छात्रों को नियमित पढ़ाई के लिए प्रेरित करता है।
Sikar में Aayaam Career Academy क्यों है सबसे खास?
- Sikar में कई कोचिंग संस्थान हैं, लेकिन Aayaam Career Academy छात्रों के लिए व्यक्तिगत मार्गदर्शन, टेस्ट सीरीज़ का सटीक विश्लेषण और परीक्षा रणनीति जैसे पहलुओं में सबसे आगे है।
- यहां से हर साल बड़ी संख्या में छात्र NEET क्वालिफाई करते हैं, जिससे इसकी सफलता दर बहुत प्रभावशाली रही है।
निष्कर्ष
JNU छात्र संघ चुनाव 2025 में नीतीश कुमार की ऐतिहासिक जीत ने यह साबित कर दिया है कि आज के छात्र सोच-समझकर, मुद्दों के आधार पर और सही नेतृत्व को चुनते हैं। उनकी जीत केवल एक चुनावी सफलता नहीं है, बल्कि बदलाव की एक नई शुरुआत है – एक ऐसा बदलाव जो शिक्षा, समानता और लोकतंत्र को और मजबूत बनाता है। इसके साथ ही, Sikar में Aayaam Career Academy जैसी कोचिंग संस्थाएं देश के युवाओं को उनके सपनों को साकार करने के लिए एक मजबूत आधार प्रदान करती हैं।
चाहे बात JNU जैसे प्रतिष्ठित विश्वविद्यालय की हो या NEET जैसी परीक्षा की तैयारी की, आज का छात्र अपने भविष्य को लेकर गंभीर है और सही मार्गदर्शन की तलाश में है। ऐसे में सही शिक्षा और नेतृत्व ही उन्हें उनके लक्ष्यों तक पहुंचा सकता है।
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